उत्प्रेरक
उत्प्रेरक :-
उत्प्रेरक – किसी रासायनिक अभिक्रिया में उपस्थित वह बाह्य पदार्थ जो रासायनिक अभिक्रिया के वेग को परिवर्तित कर देता है | उत्प्रेरक कहलाता है | और यह प्रक्रिया उत्प्रेरक कहलाता है |
उत्प्रेरक के गुण
उत्प्रेरक के निम्नलिखित गुण होते है –
- उत्प्रेरक रासायनिक अभिक्रिया के वेग को परिवर्तित कर देते है | किन्तु स्वयं के द्रव्यमान या रासायनिक संगठन में कोई परिवर्तन नहीं करते है |
- उत्प्रेरक की अल्प मात्रा ही वेग को परिवर्तित करने के लिए पर्याप्त होती है |
- उत्प्रेरक रासायनिक अभिक्रिया के वेग को केवल परिवर्तित करते है | इन्हें आरम्भ नहीं करते है |
उत्प्रेरक के प्रकार –
उत्प्रेरक निम्नलिखित प्रकार के होते है –
- धनात्मक उत्प्रेरक – वे उत्प्रेरक जो रासायनिक अभिक्रिया के वेग को घटाते है | धनात्मक उत्प्रेरक कहलाते है |
Ex.- 2KClO3——– Mno2 (मैगनीज डाई ऑक्साइड )——- 2Kcl + 3O2
N2 + 3H2——–Mo (मोलिब्डेनम )———- 2NH3
2. ऋणात्मक उत्प्रेरक – वे उत्प्रेरक जो रासायनिक अभिक्रिया के वेग को घटाते है ऋणात्मक उत्प्रेरक कहलाते है |
Ex.- 2H2O2——– (ग्लिसरीन ——- 2H2O + O2
3. स्वत उत्प्रेरक – जब रासायनिक अभिक्रिया में बढ़ा उत्पाद ही अभिक्रिया के वेग को बढ़ाता है तो उसे जैव उत्प्रेरक कहते है |
Ex. – CH3CooC2H5 + H2O———– CH3CooH + C2H5OH
4. जैव उत्प्रेरक – वे पदार्थ जो जैव रासायनिक अभिक्रियाओ की गति को बड़ा देते है तो उसे जैव उत्प्रेरक कहते है |
Ex. – स्टार्च ——– (टायलिन)—— मालटोस
मालटोस——- (मालटेज)—— ग्लूकोज
नाइट्रोजन + हाइड्रोजन ——- अमोनिया
N2 + 3H2—– 2NH3
हाइड्रोजन + क्लोरीन ——- हाइड्रोजन क्लोराइड
H2 + Cl2——- 2HCl
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